Saturday, March 28, 2020

सपनों की उड़ान: part 1

कल्पना गवर्नमेंट कॉलेज में ग्रेजुएशन(graduation। कर रही है।।सपने थो बहुत है। कल्पना पढ़ाई और स्पोर्ट्स में बहुत अच्छी थी।।हमेशा अच्छे मार्क्स से पास हुआ कर्थी।एक दिन कल्पना के कॉलेज में एक नया एडमिशन हुआ।।वीना नाम की लड़की।।वह एक गांव से आए थी।कल्पना से अच्छी दोस्ती होगायी उसकी।। कॉलेज के आखरी दिन ते।।सब दोस्त अपने भविष्य के सोच विचार के बारे में बात करते हुए बैठे ते।।कल्पना की सोच एक अच्छा स्कूल लगाने का ता।।और वीन  भी अपनी सोच स्कूल के लेके ही थी।।

                    कल्पना शहर में जो वहां रहती है।।वहां स्कूल लगने  का ता।।और वीना अपने गावं में स्कूल लगन का सोच में थी।।कॉलेज होगया।।सब अपनी अपनी ज़िन्दगी में आगे बढ़ रहे ते।।कल्पना बी अपनी सोच से अलग होगयी थी।।कॉलेज के बाद उसके सपने अलग होगाए थे।।एक दम शहर की हवा लग गए थी।।एक दिन अपने कॉलेज के किसी दिन पुराने विद्यार्थी को बुलाया गया।।कल्पना भी वह गए।।उसे वह वीना मिली।।दोनों मिल के बहुत सारी बात करे।।उस दिन कापना और वीना के लिए अच्छा गुज़रा।।वीना ने बताया जैसा वोह स्कूल का सपना था।।वैसे ही आपने गावं में स्कूल बनाए।।और अच्छी तरह चल री।।कहने लगी।।वीना ने बताया ।।कबी अपने गावं अके स्कूल आने के कह रही थी।।


          कल्पना ने वीना के स्कूल गए।।वहां की हालत देख कर।।कल्पना के आंखों में आंसू निकल पड़े।।स्कूल बहुत चोटा था।।वहां कुछ भी सही नहीं था।।कल्पना ने सोच लिया वोह वीना की मदद ज़रूर करेगी।।उसने अपनी सोच विचार सब स्कूल के विकास मै लगाया।।अब दोनों मिल कर स्कूल चला रहे है।।कुछ मदद सरकार ने भी दी।।

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